Hindi Class 12th Chapter-Wise Questions & Answers PDF
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Uploaded by FamedPoincare5845
Prince Kumar
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This document is a collection of Hindi chapterwise notes for class 12th, suitable for board exams. It covers a variety of topics, including famous Hindi poets and their poetic works. The document presents chapter titles, topics, and a summary of the content of each chapter. It also includes some objective and subjective questions based on the literature.
Full Transcript
# TARGET BOARD- Special for Board Exam ## Full Hindi- Class 12th ### Chapter-Wise (प्रश्न-उत्तर) | Chapter | Topic | Author | Page | |---|---|---|---| | **Chapter-1** | कड़बक | मलिक मुहम्मद जायसी | 1-9 | | **Chapter-2** | सूरदास के पद | सूरदास | | | **Chapter-3** | तुलसीदास के पद | तुलसीदास | |...
# TARGET BOARD- Special for Board Exam ## Full Hindi- Class 12th ### Chapter-Wise (प्रश्न-उत्तर) | Chapter | Topic | Author | Page | |---|---|---|---| | **Chapter-1** | कड़बक | मलिक मुहम्मद जायसी | 1-9 | | **Chapter-2** | सूरदास के पद | सूरदास | | | **Chapter-3** | तुलसीदास के पद | तुलसीदास | | | **Chapter-4** | छप्पय | नाभादास | | | **Chapter-5** | कवित्त | भूषण | | | **Chapter- 6** | तुमुल कोलाहल कलह में | जयशंकर प्रसाद | | | **Chapter-7** | पुत्र वियोग | सुभद्रा कुमारी चौहान | | | **Chapter-8** | उषा | शमशेर बहादुर सिंह | | | **Chapter-9** | जन-जन का चेहरा एक | गजानन माधव मुक्तिबोध | | | **Chapter-10** | अभिनायक | रघुवीर सहाय | | | **Chapter-11** | प्यारे नन्हें बेटे को | विनोद कुमार शुक्ल | | | **Chapter-12** | हार-जीत | अशोक वाजपेयी | | | **Chapter-13** | गाँव का घर | ज्ञानेंद्रपति | | **विषय-सूची- काव्य खंड** ## TARGET BOARD- Special for Board Exam ### Chapter-1 // कड़बक (कविता) * **कवि का नाम** - मलिक मुहम्मद जायसी * **जन्म**- 1492 * **निधन**- 1548 * **निवास स्थान**- जायस, उत्तर प्रदेश * **पिता का नाम**- मलिक शेख ममरेज (मलिक राजे अशरफ) * **गुरु**- सूफी संत शेख मोहिदी और सैयद अशरफ जहाँगीर। * **वृत्ति**- आरंभ में जायस में रहते हुए किसानी, बाद में शेष जीवन फकीरी में। * **व्यक्तित्व**- संत। * **कृतियाँ**- * बचपन में ही अनाथ, साधुओं-फकीरों के साथ बीता। * चेचक के कारण रूपहीन तथा बाईं आँख और कान से वंचित। मृदुभाषी, मनस्वी और स्वभावतः * पद्मावत, अखरावट, आखिरी कलाम, चित्ररेखा, कहरानामा (महरी बाईसी), मसला या मसलानामा * ( खंडित प्रति प्राप्त ) । इनके अतिरिक्त चंपावत, होलीनामा, इतरावत आदि कृतियाँ भी उल्लेख में आती हैं। ### कविता का हिंदी अर्थ **एक नैन कबि मुहमद गुनी।** **सोइ बिमोहा जेइँ कबि सुनी।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते है कि एक नैन के होते हुए भी जायसी गुणी (गुणवान) है। जो भी उनकी काव्य को सुनता है वो मोहित हो जाता है। **चाँद जइस जग बिधि औतारा।** **दीन्ह कलंक कीन्ह उजिआरा।** **जग सूझा एकइ नैनाहाँ।** **उवा सूक अस नखतन्ह माहाँ।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमें कवि कहते है कि ईश्वर ने उन्हें चंद्रमा की तरह इस धरती पर उतारा लेकिन जैसे चंद्रमा में कमी है वैसे ही कवि में भी कमी है फिर भी कवि चंद्रमा की तरह अपने काव्य की प्रकाश पूरे संसार में फैला रहे है। जिस प्रकार अकेला शुक्र नक्षत्रों के बीच उदित है। उसी प्रकार कवि ने भी अपनी एक ही आँख से इस दुनिया को भली-भांति समझ लिया है। **जौं लहि अंबहि डाभ न होई।** **तौ लहि सुगंध बसाइ न सोई।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते है कि जब तक आम में मंजरी नहीं होती तब तक उसमे सुगंध नहीं आती। **कीन्ह समुद्र पानि जौं खारा।** **तौ अति भएउ असूझ अपारा।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियों मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते है कि समुन्द्र का पानी खारा है इसलिए ही वह असूझ और अपार (बहुत अधिक मात्रा में) है। **जौं सुमेरु तिरसूल बिनासा ।** **भा कंचनगिरि लाग अकासा ।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते है कि जब तक सुमेरु पर्वत को त्रिशूल से नष्ट नहीं किया गया तब तक वो सोने का नहीं हुआ। **जौं लहि घरी कलंक न परा।** **काँच होइ नहिं कंचन करा।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियों मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते है कि जब तक घेरिया (सोना गलाने वाला पात्र) में सोने को गलाया नहीं जाता तब तक वह कच्ची धातु सोना नहीं होती। **एक नैन जस दरपन औ तेहि निरमल भाउ।** **सब रूपवंत गहि मुख जोवहिं बात।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमें कवि कहते है कि वे एक नैन के होते हुए भी दर्पण की तरह निर्मल और स्वच्छ भाव वाले है और उनके इसी गुण की वजह से बड़े-बड़े रूपवान लोग उनके चरण पकड़ कर कुछ पाने की इच्छा लिए उनके मुख की तरफ ताका करते हैं। **मुहमद यहि कबि जोरि सुनावा। सुना जो पेम पीर गा पावां।** **जोरी लाइ रकत कै लेई । गाढ़ी प्रीति नैन जल भेई।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमें कवि अपने काव्य के बारे में बताते हए कहते हैं कि मैंने (मुहम्मद) यह काव्य रचकर सुनाया है और जिसने भी इसे सुना उसे प्रेम की पीड़ा का अनुभव हुआ। मैंने इस काव्य को रक्त की लेई लगाकर जोड़ा है तथा गाढ़ी प्रीति को आँसुओं के जल में भिगोया है। **औ मन जानि कबित अस कीन्हा। मकु यह रहै जगत महँ चीन्हा।** **कहाँ सो रतनसेनि अस राजा। कहाँ सुवा असि बुधि उपराजा ।** **कहाँ अलाउद्दीन सुलतानू । कहँ राघौ जेइँ कीन्ह बखानू ।** **कहँ सुरूप पदुमावति रानी। कोइ न रहा जग रही कहानी।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश हैं जिसमें कवि कहते हैं कि मैंने इस काव्य की रचना यह जानकार की, कि मेरे ना रहने के बाद इस संसार मे मेरी आखिरी निशानी यही हो। अब न वह रत्नसेन है और न वह रूपवती पद्मावती, और न राघवचेतन या अलाउद्दीन है। आज इनमें से कोई भी नहीं लेकिन यश के रूप में इनकी कहानी रह गई है। **धनि सो पुरुख जस कीरति जासू ।** **फूल मरै पै मरै न वासू ।** **अर्थ** प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमें कवि कहते है कि वह पुरुप धन्य है जिसकी कीर्ति और प्रतिष्ठा इस संसार में है उसी तरह रह जाती है जिस प्रकार पुष्प के मुरझा जाने पर भी उसका सुगंध रह जाती है। **केइँ न जगत जस बेंचा केइँ न लीन्ह जस मोल ।** **जो यह पढ़ें कहानी हम सँवरै दुइ बोल ।।** **अर्थ** - प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमे कवि कहते हैं इस संसार में यश न तो किसी ने बेचा है और न ही किसी ने खरीदा है। कवि कहते हैं कि जो मेरे कलेजे के खून से रचित कहानी को पढ़ेगा वह हमें दो शब्दों मे याद रखेगा। ## SUBJECTIVE QUESTION 1. **कवि ने अपनी एक आंख की तुलना दर्पण से क्यों की है।** * **उत्तर** → मलिक मोहम्मद जायसी ने अपनी एक आंख की तुलना दर्पण से इसलिए की है। क्योंकि दर्पण जिस प्रकार स्वच्छ और निर्मल होता है ठीक उसी प्रकार कवि की आंख है। कोई भी व्यक्ति जिसमें साफ एवं स्पष्ट रूप से अपनी छवि देख सकता है। ठीक उसी प्रकार आंख भी स्वच्छता और पारदर्शिता का प्रतीक है । एक आंख से अंधे होते हुए भी मलिक मोहम्मद जायसी पूजनीय है। 2. **पहले कड़बक में कलंक, कांच और कंचन से क्या तात्पर्य है** * **उत्तर** * अपनी कविताओं में कवि ने कलंक, कांच और कंचन शब्द का प्रयोग इसलिए किया है क्योंकि जिस प्रकार काले धब्बे के कारण चंद्रमा कलंकित हो गया फिर भी अपने प्रभाव से जग को उज्जवल करने का काम किया कंचन शब्द के प्रयोग के पीछे कवि की धारणा यह है। कि जिस प्रकार शिव त्रिशूल द्वारा नष्ट किए जाने पर सुमेर पर्वत सोने का हो गया, ठीक उसी प्रकार सज्जनों की संगति तक दुर्जन भी श्रेष्ठ मानव हो जाता है। कांच शब्द का अर्थ यह है कि सोना गलाने के पात्र में कच्चा सोना गलाया जाता है। कांच में सोना गलाए जाने पर भी वह सोने का रूप नहीं ले लेता ठीक उसी प्रकार मनुष्य बिना संघर्ष और तपस्या के श्रेष्ठ नहीं हो पाता हैं। 3. **पहले कड़बक में व्यंजीत जायसी के आत्मविश्वास का परिचय अपने शब्दों में दें?** * **उत्तर** * महाकवि जायसी अपनी रूपहीनता एवं अंधे होने पर कभी शोक प्रकट नहीं किए बल्कि आत्मविश्वास के साथ अपने काव्य प्रतिभा के बल पर संसार में अपने गुणों के तहत आगे बढ़े क्योंकि उनका मानना था कि मनुष्य के आगे बढ़ जाने से लोग उनके दोष को भूल जाते हैं। 4. **कवि ने किस रूप में स्वयं को याद रखने की इच्छा व्यक्त की है, आप उनकी इस इच्छा का मर्म बताइए ?** * **उत्तर** कवि का कहना है कि मैंने जानबूझकर संगीत में काव्य की रचना की है। ताकि इस संसार में मेरी व्यक्तित्व बरकरार रहे और लोग काव्य रचना से मुझे जाने और आने वाले समय में मेरी कीर्ति नष्ट ना हो। 5. **भाव स्पष्ट करें :-** * **जों लहि अम्बही डाभ न होई, * **तौ लहि सुगंध बसाई न सोई** * **उत्तर**- प्रस्तुत पंक्तियां कड़बक से ली गई है। इन पंक्तियों के द्वारा कवि ने अपने विचारों को व्यक्त किया है कि जिस प्रकार जब तक आम में मांजर नहीं निकलती तब तक उसमें सुगंध नहीं आता ठीक उसी प्रकार गुण के बल पर ही व्यक्ति समाज में आदर पाने का हकदार होता है। व्यक्ति की गुणवत्ता ही उसके व्यक्तित्व में निखार लाती है। 6. **रकत के लेई का क्या अर्थ है ?** * **उत्तर** रकत के लेई का अर्थ के माध्यम से कवि ने यह बताने की चेष्टा की है। उन्होंने अपने कविता को कठिन साधना से अपनी प्रेमरूपी आंसुओं से खींचकर बनाया है। ताकि आने वाले समय में लोग उन्हें उनकी कीर्ति से याद रख सके । 7. **मुहम्मद यहि कबि जोरि सुनावा,** * **यहां कवि ने "जोरि" शब्द का प्रयोग किस अर्थ में किया है?** * **उत्तर** कवि ने जोरि शब्द का प्रयोग प्रेम के पीर की चर्चा के लिए किया है। क्योंकि जब एक साधक इसे गुरु की कृपा से उस दिव्य सौंदर्य स्वरूप परमात्मा की झलक पा लेता है तो उसका हृदय प्रेम के पीर के समान स्थिर हो जाता है। तब वह सरलता से भावना लोक में उसे सौंदर्य स्वरूप परमात्मा के सतत दर्शन करने में समर्थ हो जाता है। 8. **व्याख्या करें :-** * **धनि सो पुरुख जस कीरति बासु,** * **उत्तर** प्रस्तुत पंक्तियाँ मलिक मुहम्मद जायसी द्वारा रचित महाकाव्य पद्मावत के अंश है जिसमें कवि कहते है कि वह पुरुप धन्य है जिसकी कीर्ति और प्रतिष्ठा इस संसार में है उसी तरह रह जाती है जिस प्रकार फुल के मुरझा जाने पर भी उसका सुगंध रह जाती है। ## VVI OBJECTIVE QUESTION 1. **"कड़बक" के कवि कौन है ?** * (A) कबीर दास * (B) सूरदास * (C) **मलिक मुहम्मद जायसी** * (D) नाभादास 2. **मलिक मुहम्मद जायसी की कविता कौन सी है ?** * (A) पुत्र वियोग * (B) **कड़बक** * (C) उषा * (D) हार-जीत 3. **मलिक मुहम्मद जायसी का जन्म कब हुआ था ?** * (A) 1450 ई० में * (B) 1485 ई० में * (C) **1492 ई० में** * (D) 1496 ई० में 4. **मलिक मुहम्मद जायसी का निधन कब हुआ था ?** * (A) 1546 ई० में * (B) 1547 ई० में * (C) **1548 ई० में** * (D) 1549 ई० में 5. **जायसी का जन्म कहाँ हुआ था ?** * (A) **उत्तरप्रदेश** * (B) मध्यप्रदेश * (C) आंध्रप्रदेश * (D) इनमें से कोई नहीं 6. **जायसी किस तरह के कवि है ?** * (A) भक्त कवि * (B) **सूफी कवि** * (C) श्रृंगारिक कवि * (D) कोई नहीं 7. **जायसी का जन्म स्थान कहाँ था ?** * (A) इलाहाबाद * (B) बनारस * (C) कानपुर * (D) अमेठी 8. **मसला या मसलानामा के रचयिता है-** * (A) **जायसी** * (B) कबीरदास * (C) जायसी * (D) तुलसीदास 9. **जायसी के पिता का नाम क्या था ?** * (A) शेख यमरेख * (B) शेख परवेज * (C) शेख * (D) **मलिक शेख ममरेज** 10. **जायसी के गुरु कौन थे ?** * (A) शेख मोहिदी * (B) शेख यमरेख * (C) शेख परवेज * (D) **मलिक शेख ममरेज** 11. **जायसी के गुरु कौन थे ?** * **(A) सैयद अशरफ जहाँगीर** * (B) शेख यमरेख * (C) शेख परवेज * (D) मलिक शेख ममरेज 12. **जायसी थे -** * (A) धनवान * (B) पहलवान * (C) **फकीर** * (D) इनमें से कोई नहीं 13. **जायसी हिन्दी साहित्य की किस काव्य धारा से जुड़े थे।** * (A) भक्ति काव्य * (B) **प्रेममार्गी शाखा** * (C) ज्ञानमार्गी शाखा * (D) कृष्णमार्गी शाखा 14. **जायसी की काव्य की भाषा कौन-सी थी ?** * (A) खड़ी बोली * (B) **ब्रज** * (C) अवधी * (D) अरबी 15. **चित्ररेखा के रचयिता है-** * **(A) सूरदास** * (B) कबीरदास * (C) जायसी * (D) तुलसीदास 16. **जायसी के काव्य का मुख्य रस क्या है ?** * (A) वात्सल्य रस * **(B) श्रृंगार रस** * (C) वीर रस * (D) इनमें से कोई नहीं 17. **मालिक मुहम्मद जायसी ने रत्नसेन तथा पदमावती की कथा को किस प्रकार जोड़ा है।** * **(A) प्रेम द्वारा** * (B) भक्ति द्वारा * (C) रक्त रूप लेई द्वारा * (D) कोई नहीं 18. **जायसी ने रत्नसेन एवं पदमावती की कथा को किसके द्वारा सीचा ?** * **(A) अपने आँसुओं से** * (B) गंगाजल से * (C) जल से * (D) किसी से नहीं 19. **कहरानामा के रचयिता है-** * (A) सूरदास * (B) कबीरदास * **(C) जायसी** * (D) तुलसीदास 20. **जायसी ने किस दोष से पीड़ित हैं ?** * **(A) जिह्वा दोष** * (C) अंग दोष * (B) हस्त दोष * (D) अवध्य दोष 21. **अखिरी कलाम के रचयिता है-** * (A) सूरदास * (B) कबीरदास * **(C) जायसी** * (D) तुलसीदास 22. **जायसी का काव्य किस प्रकार गम्भीर एवं व्यापक है ?** * (A) सरोवर की भाँति * **(B) कुएँ की भाँति** * (C) समुद्र की भाँति * (D) नदी की भाँति 23. **इनमें से कौन "प्रेम के पीर' के कवि हैं ?** * **(A) जायसी** * (B) नाभादास * (C) सूरदास * (D) कबीरदास 24. **'कड़बक' कहाँ से लिया गया है ?** * **(A) आखिरी कलाम** * (B) अखरावट * (C) मधुमालती * (D) पद्मावत 25. **कड़बक के रचयिता है-** * (A) सूरदास * (B) कबीरदास * **(C) जायसी** * (D) तुलसीदास 26. **जायसी रचित 'पद्मावत' की भाषा क्या है ?** * (A) खड़ी बोली * **(B) अवधी भाषा** * (C) ब्रज भाषा * (D) मैथिली भाषा 27. **किस कवि का एक आँख और एक कान खराब हो गया था -** * **(A) सूरदास** * (B) कबीरदास * (C) जायसी * (D) तुलसीदास 28. **अखरावट के रचयिता है-** * (A) सूरदास * (B) कबीरदास * **(C) जायसी** * (D) तुलसीदास 29. **मलिक मुहम्मद जायसी किस परंपरा के कवि है ?** * (A) सगुण कृष्णभक्ति परंपरा * (B) सगुण रामभक्ति परंपरा * **(C) प्रेमाख्यानक काव्य-परंपरा** * (D) संस्कृत काव्य-परंपरा 30. **जायसी ने अपनी आँख की उपमा किससे की है ?** * (A) कमल * (B) कुमुद * (C) सरोवर * **(D) दर्पण** 31. **मलिक मुहम्मद जायसी किस शाखा के कवि है ?** * **(A) प्रेममार्गी शाखा के** * (B) ज्ञानमार्गी शाखा के * (C) राममार्गी शाखा के * (D) कृष्णमार्गी शाखा के 32. **कौन-सी कृति मलिक मुहम्मद जायसी की नहीं है ?** * (A) पद्मावत * **(B) अखरावट** * (C) आखिरी कलाम * (D) पद्मावत 33. **मुहम्मद जायसी किसका है ?** * (A) कुल की विदाई की * (B) उज्जवल दशा की * **(C) जायसी की** * (D) मंद की # TARGET BOARD- The End ## TARGET BOARD HELPLINE NO. - 8114532021, 9263991125 ## TARGET BOARD- इंटर परीक्षा की तैयारी के लिए बिहार का No.1 YouTube Channel Click on these links for extra information. * **Youtube Link** - https://www.youtube.com/@targetboard12th * **App Link** - https://openinapp.co/TargetBoard * **Website Link** - https://targetboard.co/ * **Website Link** - https://www.parikshanews.com/ * **Website Link** - https://boardmantra.in/