Current Concept (1-15 January) 2024 PDF

Summary

This document discusses current affairs in India, including details about the Swachh Survekshan Awards and archaeological discoveries in Vadnagar, Gujarat. It highlights the achievements and rankings of cities and states in India's urban development sector. It also examines India's space exploration initiatives.

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अं क 01 क से ट st th 01 -15 जनवरी 2024 करेेंट कन््‍ससेप्‍ट ¾ मध्‍य प्रदेश के महू छावनी बोर््ड सबसे स्वच्छ छावनी बोर््ड स्वच्छ सर्वेक्षण अवार््ड््...

अं क 01 क से ट st th 01 -15 जनवरी 2024 करेेंट कन््‍ससेप्‍ट ¾ मध्‍य प्रदेश के महू छावनी बोर््ड सबसे स्वच्छ छावनी बोर््ड स्वच्छ सर्वेक्षण अवार््ड््स - 2023 (8 वां संस्करण) घोषित । Source : PIB ¾ वर््ष 2023 के सर्वेक्षण मेें कुल 4477 शहरी स््‍थथानीय निकाय, 61 छावनियॉॉं एवं 88 गंगा के किनारे वाले शहर ¾ जारीकर्त्ता - केेंद्रीय आवास और शहरी मंत्रालय ने भाग लिया। ¾ राष्‍ट्रपति द्रौपदी मुर््ममू ने भारत मंडपम नई दिल््‍लली मेें ¾ सफाई मित्र सुरक्षा चैलेेंज मेें भाग लेने वाले शहरोों मेें स्‍वच्‍छता सर्वेक्षण पुरस््‍ककार 2023 प्रदान किये। चंडीगढ़ को सर््वश्रेष्‍ठ शहर का पुरस््‍ककार मिला। ¾ वर््ष 2023 सर्वेक्षण का विषय– अपशिष्‍ट से धन (Waste ¾ स्‍वच्‍छ भारत मिशन 2024 के लिए गान– नया संकल्‍प है, to Wealth) नया प्रकल्‍प है। ¾ वर््ष 2024 सर्वेक्षण का विषय– कम करेें, पुन: उपयोग करेें और रीसायकल करेें। (Reduce, Reuse, Recycle) ¾ रिपोर््ट मेें सूरत ने इंदौर के साथ शीर््ष स््‍थथान प्राप्‍त किया। वेटलैैंड सिटी प्रत््‍ययायन इससे पहले इंदौर लगातार छ: वर्षषों से अकेले शीर््ष स््‍थथान Source : The Hindu प्राप्‍त किया था। पर्यावरण, वन और जलवायु परिवर््तन मंत्रालय मेें वेटलैैंड रैैंक सबसे स्वच्छ शहर सर््वश्रेष्‍ठ प्रदर््शन वाले राज्‍य सिटी प्रत््‍ययायन (WCA) के लिए भारत से तीन नामांकन प्रस््‍ततुत 1. इंदौर (मध्‍य प्रदेश) महाराष्‍ट्र किये हैैं। 1. सूरत (गुजरात) मध्‍य प्रदेश ¾ नामांकित शहरोों मेें इंदौर (M.P.), भोपाल (M.P.), और उदयपुर (राजस््‍थथान) शामिल हैैं। 3. नवी मुंबई (महाराष्‍ट्र) छत्तीसगढ़ रामसर वेटलैैंड सिटी प्रत््‍ययायन (WCA) रैैंक सबसे कम स्वच्छ शहर सबसे कम स्वच्छ राज्‍य ¾ रामसर वेटलैैंड सिटी मान्‍यता वर््ष 2015 मेें आयोजित 1. कोलकाता (पश्चिम बंगाल) अरूणाचल प्रदेश COP12 के दौरान रामसर कन््‍कके शन का परिणाम है। 1. आसनसोल (पश्चिम बंगाल) मिजोरम ¾ यह प्रकृ ति मेें स््‍ववैच्छिक है और उन शहरोों को मान्‍यता 3. हावड़़ा (पश्चिम बंगाल) राजस््‍थथान देता है जिन्‍होंने अपने शहरी आर्दद्रभूमि की सुरक्षा के लिए असाधारण कदम उठाए हैैं। ¾ 1 लाख से कम आबादी वाले शहरोों मेें महाराष्‍ट्र के ¾ महत्‍व—यह आर्दद्रभूमि के संरक्षण मेें उनके प्रयासोों के लिए सासवड सबसे स्‍वच्‍छ शहर का पुरस््‍ककार मिला। पाटन और अंतर्राष्‍‍ट््रीय मान्‍यता और ब््राांडिंग के अवसर प्राप्‍त करने का लोनावाला को क्रमश: दस ू रा एवं तीसरा स््‍थथान मिला। अवसर प्रदान करता है। ¾ 1 लाख से कम आबादी वाले शहरोों मेें फास््‍टटेस्‍ट मूवर सिटी ¾ रामसर कन्‍वेंशन—यह 1971 मेें रामसर (ईरान) मेें हस््‍तताक्षरित का अवॉर््ड नौरोजाबाद (मध्‍य प्रदेश) को दिया गया। एक अंतर सरकारी संधि है जो आर्दद्रभूमि और उनके ¾ 1 लाख से अधिक आबादी वाले शहरोों मेें फास््‍टटेस्‍ट मूवर संसाधनोों के संरक्षण और बुद्घिमानीपूर््ण उपयोग के लिए सिटी का अवॉर््ड पण््‍जजी (गोवा) को दिया गया। रूपरेखा प्रदान करती है। ¾ वाराणसी को एक लाख से अधिक अबादी वाले शहरोों ¾ भारत जनवरी तक कु ल 75 आर्दद्रभूमि स्‍थलोों की घोषणा मेें सर््वश्रेष्ठ गंगा शहर घोषित किया गया। दस ू रा स््‍थथान कर चुका था। प्रयागराज का रहा। नोट:- वर््तमान मेें भारत मेें अभी 85 आर्दद्रभूमि है। करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) EDU TERIA Mob. : 8603855800, 7634846685 1 अध्‍ययन का महत्‍व भारत का सबसे पुराना जीवित शहर वडनगर ¾ यह खोज, 1500 ईसा पूर््व और 500 ईसा पूर््व के बीच Source : The Hindu भारतीय पुरातात्विक इतिहास मेें एक अंतर को भरती है, हाल ही मेें गुजरात के वडनगर मेें एक पुरातात्विक उत्‍खनन जिससे भारत मेें 5500 वर्षषों से अधिक समय से चली आ से 1400 ई. पू. की मानव बस््‍तती के प्रमाण मिले हैैं। रही मानव बसावट की निरंतरता का पता चलता है। ¾ भारतीय प्रौद्योगिकी संस््‍थथान खड़गपुर तथा भारतीय ¾ यह बस््‍तती 1400 ई.पू. की हो सकती है जो अंधकार युग की धारणा को चुनौती देता है, जो पिछले 5500 वर्षषों से भारत पुरातत्‍व सर्वेक्षण (ASI) के द्वारा संयुक्‍त अध्‍ययन किया मेें सांस््‍ककृ तिक निरंतरता का संकेत देता है। गया। यह अध्‍ययन हड़प््‍पपा सभ्‍यता के पतन के बाद भी वडनगर मेें सांस््‍ककृ तिक निरंतरता का पुरातात्विक प्रमाण एक्‍स-रे पोलारिमीटर सैटल े ाइट प्रदान करके ‘’अंधकार युग’’ की धारणा को चुनौती देता है। (XPoSat) मिशन प्रमुख बिंद— ु Source : The Indian Express 1. उत्‍खनन से विशि‍ष्ट पुरातात्विक कलाकृतियॉॉं‍ मिट्टी के ISRO ने 1 जनवरी, 2024 को अपने पहले एक्‍स-रे बर््तन, तॉॉंबा, सोना, चॉॉंदी और लोहे की वस््‍ततुएं आदि मिली पोलरीमीटर सैटेलाइट (XPoSat) मिशन का सफल प्रक्षेपण किया। है। ¾ PSLV-C58 रॉके ट की मदद से सैटेलाइट को 6 डिग्री 2. अध्‍ययन से वडनगर मेें 800 ईसा पूर््व प्राचीन मानव बस््‍तती के झुकाव के साथ 650 किलोमीटर की इच्छित कक्षा मेें के साक्ष्‍य का पता चलता है। सटीक रूप से स््‍थथापित किया गया है। यह मिशन करीब 3. सबसे पुराने बौद्घ मठोों मेें से एक की भी खोज की गई है। 5 वर््ष का होगा। 4. वडनगर को एक बहुसांस््‍ककृ तिक और बहुधार््ममिक बस््‍तती के ¾ PSLV-C58 रॉकेट ने अपनी 60वीीं उड़़ान मेें एक्‍सपो सैट रूप मेें वर््णणित किया गया है जिसमेें बौद्घ, हिंद,ू जैन तथा के साथ 10 अन्‍य वैज्ञानिक पेलोड भी लांच किये। इस््‍ललामी प्रभाव शामिल है। उद्देश्‍य :- 5. जलवायु प्रेरित परिवर््तन जैसे— वर्षा, सूखा ने 3000 ¾ एक्‍सपोसेट का लक्ष्‍य अंतरिक्ष मेें एक्‍स-रे स्रोतोों के वर्षषों मेें विभिन्‍न साम्राज्‍यों के उत््‍थथान और पतन और ध्रुवीकरण की जांच करना है। मध्‍य एशियाई योद्घाओं द्वारा भारत पर निरंतर होने वाले ¾ XPoSat चरम स्थितियोों मेें उज्‍‍ज््‍वल खगोलीय एक्‍स-रे आक्रमणोों मेें महत्‍वपूर््ण भूमिका निभाई। स्रोतोों की विभिन्‍न गतिशीलता का अध्‍ययन करने वाला भारत का पहला समर््पपित पोलारिमेट्री मिशन है। 6. रेडियोकार््बन तिथियोों से वडनगर के क्रमिक शासकोों का ¾ भारत, USA के बाद ब््‍ललैक होल और न््‍ययूट्रॉन नक्षत्ररों के पता चलता है— अध्‍ययन के लिए विशिष्‍ट खगोल शास्‍‍त््रीय वैधशाला I. इंडो-ग्रीक (100 ईसा पू. तक) भेजने वाला दस ू रा देश बन गया है। II. इंडो-सीथियन/शक/क्षत्रप शासक (400 ई.तक) ¾ इन खगोलीय विंडो से संबंधित भौतिकी को समझने के III. मैत्रक/गुप्‍त साम्राज्‍य/राष्‍ट्रकूट-प्रतिहार-चावड़़ा लिये यह अध्‍ययन महत्‍वपूर््ण है। राजा (930 ई. तक) ¾ महत्‍व :- हाल ही मेें लॉन्‍च किये गये सौर मिशन IV. सोलंकी राजा (चालुक्‍य शासन, 1300 ई. तक) आदित्‍य-L1 और AstroSat के बाद, XPoSat भारत की V. सल्‍तनत मुगल (1680 ई.) तीसरी अंतरिक्ष आधारित वैधशाला होगी। ¾ विकास :- ISRO के U.R. Rao सैटलाइट सेेंटर और रमन VI. गायकवाड़/ब्रिटिश रिसर््च इंस््‍टटीच््‍ययूट द्वारा निर््ममित किया गया। 2 Mob. : 8603855800, 7634846685 EDU TERIA करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) ¾ इसे जाइंट मीटरवेव रेडियो टेलीस््‍ककोप (GMRT) भी कहा स्‍क्‍वायर किलोमीटर ऐरे जाता है। ऑब्‍जर्वेटरी (SKAO) ¾ इस दरू बीन ने अब तक पल्‍सर, सुपरनोवा, क््‍ववासर, Source : PIB आकाशगंगाओं का अध्‍ययन करने के बाद उल््‍ललेखनीय एसकेएओ एक अंतर्राष्‍‍ट््रीय मेगा-विज्ञान परियोजना है वैज्ञानिक परिणाम किये हैैं। जो दनि ु या मेें सबसे बड़़े रेडियो टेलीस््‍ककोप के रूप मेें काम करेगी, इसमेें अब भारत के वैज्ञानिक भी शामिल होोंगे। दृष्टि 10 स््‍टटारलाइनर यूएवी ¾ इसरो ने 1 जनवरी, 2024 को अंतरिक्ष मेें एक्‍स-रे और ब््‍ललैक होल का अध्‍ययन करने के लिए एक अनूठी Source : The Hindu वैधशाला लॉन्‍च की। भारतीय नौसेना को अपना पहला स्‍वदेशी मध्‍यम, ऊँचाई SKAO (स्‍क्‍वायर किलोमीटर ऐरे ऑब्‍जर्वेटरी) वाला लंबा (MALE) ड्रोन, दृष्टि 10 स््‍टटारलाइनर मानव रहित ¾ SKAO हजारोों ऐंटिना की एक श््रृृंखला है। हवाई वाहन (UAV) मिला। ¾ SKAO को वर््ष 2021 मेें एक अंतर सरकारी संगठन के रूप ¾ यह एक उन्‍नत खुफिया, निगरानी, टोह (ISR) प््‍ललेटफॉर््म है। मेें स््‍थथापित किया गया था। मुख््‍ययालय–UK ¾ इसे अडानी डिफेेंस और एयरोस््‍पपेस के द्वारा इजरायली रक्षा ¾ SKAO को दक्षिण अफ्रीका और आस्‍‍ट््रेलिया मेें दरू स्‍थ फर््म एल््ब्टटि सिस्‍टम से प्रौद्योगिकी हस््‍ताांतरण के सहयोग रेडियोों-शांत स््‍थथानोों मेें स््‍थथापित किया जाएगा। से विकसित किया गया है। ¾ भारत सरकार ने इस परियोजना मेें शामिल होने के लिए प्रमुख विशेषताएँ:- 1250 करोड़ रूपये की वित्तीय अनुसमर््थन मंजूरी दी है। ¾ यह भारत का पहला स्‍वदेशी मध्‍यम ऊँचाई वाली ¾ महाराष्‍ट्र के हिंगोली जिले मेें अमेरिका स्थिर लेजर दीर््घकालिक (MALE)ड्रोन है। 70% ड्रोन स्‍वदेशी घटकोों इंटरेकोमीटर ग्रेविटेशनल वेव ऑब्‍जर्वेटरी (LIGO) के का उपयोग करके बनाया गया है। तीसरे नोट के निर्माण की मंजूरी मिल चुकी है। ¾ दृष्टि 10 स््‍टटारलाइनर प्रभावशाली 36 घंटे की सहन शक्ति SKAO परियोजना और 450 किलोग्राम की पर्याप्‍त पेलोट क्षमता का दावा करता है। ¾ SKAO का मुख्‍य उद्देश्‍य ब्रह््माांड मेें 3000 ट्रिलियन किमी ¾ यह अत््‍ययाधुनिक सेेंसर, उन्‍नत सहनशक्ति, उन्‍नत संचार से अधिक दरू ी तक की घटनाओं का अध्‍ययन करना है। क्षमताओं और अत््‍ययाधुनिक तकनीकोों से लैस है। ¾ इससे आकाश गंगाओं और सितारोों का अधिक विस््‍ततार से ¾ यूएवी भविष्‍य के नौसेनिक अभियानोों का आकार देने अध्‍ययन संभव हो सकेगा। और हिंद महासागर क्षेत्र मेें भारत के राष्‍‍ट््रीय समृद्घ हितोों ¾ इस दरू बीन का उपयोग:— की सुरक्षा मेें महत्‍वपूर््ण भूमिका निभाएगा। → ब्रह््माांड की शुरूआत → प्रथम तारोों की उत्‍पत्ति इसरोों की वाणिज्यिक शाखा 2024 मेें स््‍पपेस-एक्‍स → आकाश गंगा का जीवन चक्र के फाल्‍कन-9 से जीसैट-20 उपग्रह लांच करेगी। → गुरूत््‍ववाकर््षण तरंगोों की उत्‍पति को समझना → आदि के संबंध मेें जानकारी एकत्रित करना है। Source : The Indian Express भारत की भूमिका :- GSAT-20 एक उच्‍च थ्रूपुट के ए-बैैंड उपग्रह है जिसका ¾ SKA मेें भारत का मुख्‍य योगदान टेलीस््‍ककोप मैनेजर पूर््ण स््‍ववामित्‍व, संचालन और वित्त पोषण एनएसआईएल द्वारा एलिमेट ‘’न््‍ययूरल नेटवर््क’’ या सॉफ्टवेयर का विकास और किया जाएगा। संचालन है, जो टेलीस््‍ककोप का कार््य करेगा। ¾ इसरो की वाणिज्यिक शाखा, न््‍ययूस््‍पपेस इंडिया लिमिटेड ¾ टाटा इंस््‍टटीच््‍ययूट ऑफ फंडामेेंटल रिसर््च की एक इकाई (NSIL) 2024 की दस ू री तिमाही के दौरान स््‍पपेस एक्‍स NCRA पुणे के पास भारत के रेडियो दरू बीनोों के सबसे के फाल्‍कन-9 से GSAT-20 (जिसका नाम बदलकर बड़़े नेटवर््क का संचालन करती है। जीसैट- एन 2 रखा गया है) लॉन्‍च करेगी। करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) EDU TERIA Mob. : 8603855800, 7634846685 3 प्रमुख विशेषताएँ :- भौगोलिक संकेत (G.I.) टैग ¾ GSAT-20 अंडमान और निकोबार और लक्षद्वीप द्वीपोों ¾ जीआई टैग एक नाम या चिन्‍ह है जो किसी विशिष्‍ट सहित पूरे भारत मेें कवरेज के साथ इसमेें 32 बीम शामिल भौगोलिक स््‍थथान या मूल के उत््‍पपादोों को प्रदान किया है जो विशेष रूप से वंचित क्षेत्ररों की मांग वाली सेना जाता है। आवश्‍यकताओं को पूरा करेगा। ¾ G.I. tag सुनिश्चित करता है कि केवल अधिकृ त ¾ यह उपग्रह लगभग 48 Gbps की प्रभावशाली हाई थ्रूपुट सैटेलाइट क्षमता प्रदान करता है और इसका भारत 4700 उपयोगकर्त्ताओं या भौगोलिक क्षेत्र मेें रहने वाले लोगोों kg है। को ही इस नाम के उपयोग की अनुमति है। उद्देश्‍य :- देश की ब्रॉडबैैंड संचार आवश्‍यकताओं को पूरा ¾ एक पंजीकृत G.I. 10 वर्षषों के लिए वैध होता है। करना। ¾ वस््‍ततुओं का भौगोलिक संकेत (पंजीकरण और संरक्षण) महत्‍व :- ¾ पूरे देश मेें उच्‍च डेटा ट््राांसमिशन क्षमता प्रदान करना। अधिनियम, 1999 भारत मेें वस््‍ततुओं से संबंधित भौगोलिक ¾ सुदरु और पहले से असंबद्घ क्षेत्ररों की आवश्‍यकताओं को संकेतोों के पंजीकरण और बेहतर सुरक्षा प्रदान करने का पूरा कर डिजिटल विभाजन को कम करना तथा समावेशी प्रयास करता है। विकास को बढ़़ावा देना। ¾ यह बौद्घिक सम्‍पदा अधिकार (TRIPS) के व््‍ययापार 17 से अधिक उत््‍पपादोों के लिए जीआई टैग संबधित ं पहलुओं पर WTO समझौते द्वारा शासित और निर्देशित है। Source : The Indian Express हाल ही मेें ओडिशा, अरूणाचल प्रदेश, पश्चिम बंगाल और भारत यूनेस््‍कको की विश्‍व धरोहर समिति के 46वेें जम््‍ममू और कश््‍ममीर के 17 से अधिक उत््‍पपादोों को भौगोलिक सत्र की मेजबानी करेगा संकेत टैग प्राप्‍त हुआ है। राज्‍य G.I. Tag प्राप्‍त उत््‍पपाद Source : PIB 1. कपडगंडा शॉल भारत 21 से 31 जुलाई 2024 तक नई दिल््‍लली मेें यूनेस्‍कों 2. लांजिया सौरा पेेंटिंग की विश्‍व धरोहर समिति के 46वीीं सत्र की पहली बार अध्‍यक्षता 3. कोरापुट काला जीरा चावल और मेजबानी करेगा। ओडिशा 4. सिमिलिपाल काई चटनी प्रमुख बिंदु :— 5. नयागढ़ कांतिमुंडी बैैंगन 6. ओडिशा खजूरी गुडा ¾ यूनेस््‍कको की विश्‍व धरोहर समिति का सत्र हर वर््ष आयोजित 7. ढेकनाल बिंदू होता है, जिसमेें 21 सदस्‍य देशोों के प्रतिनिधि शामिल होते 8. तांगेल साड़़ी हैैं। 9. गारद साड़़ी ¾ किसी देश के स्‍थल या सम्‍पत्ति को विश्‍व धरोहर की सूची पश्चिम बंगाल 10. कोरियल साड़़ी 11. कालो नूनिया चावल मेें शामिल करने का फैसला यह समिति करती है। 12. सुंदरवन शहद ¾ इस समिति का प्राथमिक उद्देश्‍य सांस््‍ककृ तिक और प्राकृ तिक गुजरात 13. कच््‍चची खरेक सम्‍पदाओं के संरक्षण के लिए अंतर्राष्‍‍ट््रीय सहयोग के जम््‍ममू-कश््‍ममीर 14. रामबन अनारदाना महत्‍व पर प्रकाश डालते हुए यूनेस्‍कों विश्‍व धरोहर स्‍थलोों की सूची तैयार करना है। अरूणाचल 15. वांचो लकड़़ी का शिल्‍प प्रदेश 16. आदि केकिर ¾ यह खतरे मेें विश्‍व विरासत की सूची मेें सम्‍पत्तियोों को उत्तर प्रदेश 17. हनुमानगढ़़ी लड्डू अंकित करने या हटाने का भी निर््णय लेता है। 4 Mob. : 8603855800, 7634846685 EDU TERIA करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) महत्‍व:— 16वेें वित्त आयेाग का गठन ¾ यह आयोजन भारत को सांस््‍ककृ तिक और ऐतिहासिक विरासत के संरक्षण पर वैश्विक चर्चा के केें द्र बिंदु के रूप Source : PIB से रखता है, जो विश्‍व मंच पर भारत की समृद्घ सांस््‍ककृ तिक ¾ सरकार ने राष्‍ट्रपति के अनुमोदन से संविधान के अनुच््‍छछेद विरासत को प्रदर््शशित करने का एक महत्‍वपूर््ण अवसर 280(1) के अनुसरण मेें 16वेें वित्त आयोग का गठन किया प्रस््‍ततुत करता है। है। संयुक्‍त राष्‍ट्र शैक्षणिक, वैज्ञानिक और सांस््‍ककृ तिक संगठन : UNESCO ¾ नीति आयोग के पूर््व उपाध्‍यक्ष और कोलंबिया ¾ यह एक संयुक्‍त राष्‍ट्र की विशिष्‍ट एजेेंसी है जिसकी विश्‍वविद्यालय के प्रोफेसर डॉ. अरविंद पनगढिय़़ा इसके स््‍थथापना 1945 मेें हुई थी। अध्‍यक्ष होोंगे। ¾ इसका कार््य शिक्षा, प्रकृति तथा समाज विज्ञान, संस््‍ककृ ति ¾ श्री ऋत्विक रंजनम पांड े को आयोग का सचिव नियुक्‍त तथा संचार के माध्‍यम से अंतर्राष्‍‍ट््रीय शांति को बढ़़ावा किया गया है। देना है। → सदस्‍य : अजय नारायण इना, सौम््‍यया कांति घोष, ¾ इसका मुख््‍ययालय पेरिस (फ््राांस) मेें है। एनी जार््ज मैथ््‍ययू और मनोज पांडा ¾ भारत और यूनेस््‍कको :— विश्‍व विरासत स्‍थल सूची मेें भारत के 42 स्‍थल है। हाल ही मेें शांतिनिकेतन और होयसल ¾ सोलहवेें वित्त आयोग जो अप्रैल 2026 से शुरू होने वाली मंदिर समूह इसमेें शामिल किया गया है। 5 साल की अवधि के लिए केेंद्र और राज्‍यों के बीच कर राजस्‍व साझा करने के फॉर््ममूले की सिफारिश करेगा। जापान मेें 7.6 तीव्रता की भूकम्‍प सोलहवां वित्त आयेाग निम्‍नलिखित विषयोों के संबंध मेें सिफारिश करेगा:— Source : The Indian Express ¾ संघ और राज्‍यों के बीच करो की निवल आय का वितरण, ¾ जापान के इशिकावा प््राांत मेें नोटो प्रायद्वीप के पास 1 जो संविधान भाग-XII के अधीन उनके बीच विभाजित जनवरी, 2024 को 7.6 तीव्रता का भूकम्‍प दर््ज किया किया जाना है या किया जा सकता है। गया। ¾ वे सिद््घाांत जो भारत की संचित निधि मेें से राज्‍यों के ¾ भूकम्‍प के कारण जापान के पश्चिमी तट और पड़़ोसी देश राजस्‍व के सहायता अनुदान को नियंत्रित करेें और दक्षिण कोरिया के तट पर लगभग 1 मीटर (3 फीट) ऊँची संविधान के अनुच््‍छछेद 275 के अधीन राज्‍यों को उनके समुद्री लहरेें उत्‍पन्‍न हुई। राजस्‍व के सहायता अनुदान के रूप मेें उस अनुच््‍छछेद के ¾ मौसम विज्ञान एजेेंसी जापान के अनुसार, पहली बार खंड (1) के प्रावधानोों मेें विनिर््ददिष्‍ट प्रयोजनोों के अलावा आए भूकम्‍प के बाद लगभग 200 झटके महसूस किये अन्‍य प्रयोजनोों के लिए भुगतान की जाने वाली राशि। गये। पश्चिमी जापान मेें शक्तिशाली भूकम्‍पों की एक श््रृृंखला आई, जिसमेें कम से कम 48 लोग मारे गये। ¾ राज्‍य के वित्त आयोग द्वारा की गई सिफारिशोों के आधार पर राज्‍य मेें पंचायतोों और नगरपालिकाओं के संसाधनोों ¾ 2011 मेें जापान मेें आए 9.0 तीव्रता के भूकम्‍प के को संपूरित करने के लिए राज्‍य की संचित निधि मेें वृद्घि परिणामस्‍वरूप सुनामी आई जिसने देश के उत्तर-पूर्वी तटीय समूह को नष्‍ट कर दिया, जिसमेें 18,000 लोग मारे करने के लिए आवश्‍यक उपाय। गये। उन सुनामी लहरोों ने फुफुशिमा बिजली संयंत्र मेें ¾ आपदा प्रबंधन वित्त पोषण का मूल््‍याांकन:— आयोग परमाणु दर््घट ु ना को जन्‍म दिया, जिससे चेरनोबिल के आपदा प्रबंधन पहल से संबंधित वर्तत्तमान वित्तपोषण बाद सबसे गंभीर परमाणु दर््घट ु ना हुई। संरचनाओं की समीक्षा कर सकता है। करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) EDU TERIA Mob. : 8603855800, 7634846685 5 ¾ यह धारा, हिट-एंड-रन की घटनाओं के लिए गंभीर दंड का भारत मेें बहुआयामी गरीबी चर्चा पत्र प्रावधान करती है, जो ड्राइविंग समुदाय के बीच असंतोष Source : The Hindu के केें द्र बिंदु है। 15 जनवरी, 2024 को नीति आयोग द्वारा वर््ष 2005-06 ¾ हालांकि देशव््‍ययापी ट्रक चालकोों का आंदोलन समाप्‍त से भारत मेें बहुआयामी गरीबी शीर््षक से एक चर्चा पत्र जारी हो गया है क्‍योंकि सरकार ने आश््‍ववासन दिया है कि वह किया गया है। हिट-एंड-रन के खिलाफ विवादात्‍मक कानून लागू करने ¾ इस चर्चा पत्र मेें राष्‍‍ट््रीय परिवार स््‍ववास्‍‍थ््‍य सर्वेक्षण-4 से पहले हितधारकोों से परामर््श करेगी। (2015-16) और राष्‍‍ट््रीय परिवार स््‍ववास्‍‍थ््‍य सर्वेक्षण-5 नया हिट-एंड-रन कानून (2019-21) के आंकड़ों का प्रयोग किया गया है। ¾ बीएनएस के अनुसार, जो ब्रिटिश काल की भारतीय प्रमुख बिन््‍ददु:— दंड संहिता (IPC) का प्रतिस््‍थथापन है, यदि कोई ड्राइवर 1. भारत मेें बहुआयामी गरीबी मेें उल््‍ललेखनीय कमी आई है, लापरवाही से गाड़़ी चलाने के कारण गंभीर सड़क दर््घट ु ना जो 2013-14 मेें 29.17% से घटाकर 2022-23 मेें 11.28% का कारण बनता है और फिर पुलिस या किसी अधिकारी हो गई है, जो 17.89% अंक की कमी दर्शाता है। को सूचित किये बिना चला जाता है, तो वह 10 साल तक 2. विगत 9 वर्षषों मेें लगभग 24.82 करोड़ लोग गरीबी से बाहर की जेल और 7 लाख रूपये का जुर्माना हो सकता है। निकले। ¾ यद्यपि यदि ड्राइवर दर््घट ु ना के तुरत ं बाद घटना की रिपोर््ट 3. राज्‍य स्‍तर पर सर्वाधिक कमी उत्तर प्रदेश मेें दर््ज की गई, करता है तो उन पर धारा 106(2) के स््‍थथान पर धारा 106(1) जहॉॉं 5.94 करोड़ लोग गरीबी रेखा से बाहर निकले। के तहत आरोप सिद्घ किया जाएगा। 4. बिहार 3.77 करोड़ और मध्‍य प्रदेश 2.30 करोड़ लोगोों को ¾ धारा 106(1) मेें गैर-इरादतन हत््‍यया की श्रेणी मेें नहीीं आने गरीबी से बाहर निकालने के साथ दस ू रे और तीसरे स््‍थथान वाली मौत के लिए 5 वर््ष तक की सजा का प्रावधान है। पर है। नोट :— पुराने, ब्रिटिश काल के IPC मेें हिट-एंड-रन मामलोों 5. इस अवधि के दौरान राष्‍‍ट््रीय MPI के सभी 12 संकेतकोों के लिए कोई विशेष प्रावधान नहीीं था। ऐसे मामलोों मेें IPC मेें उल्लेखनीय सुधार हुआ है। की धारा 304A के तहत कार््रवाई की जाती थी। 6. भारत को सतत विकास लक्ष्‍य (SDG) लक्ष्‍य 1.2 प्राप्‍त → इस धारा के अनुसार, लापरवाही से किए गए किसी होने की संभावना है, जिसका लक्ष्‍य 2030 से पहले कार््य के कारण किसी अन्‍य की मृत््‍ययु का कारण बनने ‘’राष्‍‍ट््रीय परिभाषाओं के अनुसार सभी आयामोों मेें गरीबी मेें रहने वाले सभी उम्र के पुरूषोों, महिलाओं और बच्‍चों के वाले व्‍यक्ति को अधिकतम दो साल की जेल या जुर्माना अनुपात को कम से कम आधा’’ कम करना है। हो सकता है। 7. जीवन स्‍तर के आयाम से संबंधित संकेतकोों मेें महत्‍वपूर््ण नए हिट-एंड-रन कानून की आवश्‍यकता? सुधार दिखाई दिए, जैसे- स्‍वच्‍छता सुविधाओं, बैैंक खाता, ¾ वर््ष 2022 मेें भारत मेें 1.68 लाख से अधिक सड़क दर््घट ु ना खाना पकाने के ईंधन आदि। मौतेें दर््ज की गई। ¾ आधे से अधिक सड़क मौतेें राष्‍‍ट््रीय और राज्‍य राजमार्गगों हिट-एंड-रन कानून से संबंधित चिताएँ पर हुईं, जो कुल सड़क नेटवर््क का 5% से भी कम है। ¾ सड़क दर््घटु नाओं के कारण देश अपने GDP का 5-7% Source : The Indian Express वार््षषि क आर््थथि क नुकसान झेलता है। भारतीय न््‍ययाय संहिता, 2023 (बीएनएस) की विवादास्‍पद ¾ इस कानून का उद्देश्‍य तेज गति और लापरवाही से गाड़़ी धारा 106(2) के प्रावधानोों के विरूद्घ महाराष्‍ट्र छत्तीसगढ़, चलाने को रोकना और उन लोगोों को दंडित करना है, जो पंजाब, पश्चिम बंगाल जैसे राज्‍यों मेें ट््राांसपोर््टरोों और वाणिज्यिक पीडितोों की सूचना दिए बिना या उनकी मदद किए बिना ड्राइवरोों ने विरोध प्रदर््शन किया है। घटनास्‍थल से भाग जाते हैैं। 6 Mob. : 8603855800, 7634846685 EDU TERIA करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) ¾ सड़क दर््घु टनाओं की संख््‍यया मेें कमी लाना तथा घायल लाल सागर मेें संकट और भारत पर प्रभाव : व्‍यक्ति को त्‍वरित चिकित्‍सकीय सुविधा उपलब्‍ध करवा 1. नवम्‍बर 2023 से यमन के हूती विद्रोहियो द्वारा लाल सागर कर सड़क दर््घट ु ना से होने वाली मौतोों मेें कमी लाना है। मेें मालवाहक जहाजोों पर हमले बढ़ गए हैैं। ड्राइवर तथा प्रदर््शनकारियोों की चिताएँ:— 2. इसने मालवाहकोों को अफ्रीका के दक्षिणी छोर पर केप ¾ प्रदर््शनकारियोों का तर््क है कि निर्धारित दंड जिसमेें 10 ऑफ गुड होप के आस-पास लम््‍बबे समय तक पारगमन साल की कैद और 7 लाख का जुर्माना अत्‍यधिक गंभीर करने के लिए मजबूर किया है, जिससे शिपमेेंट महंगा हो है अत: BNS, 2023 की धारा 106(2) को वापस लेना या गया है। संशोधन किया जाना चाहिए। 3. पश्चिमी गोलार्दद्घ का लगभग 90% माल चाहे वह भारत से ¾ जुर्माना अत्यधिक है और ड्राइवरोों की चुनौतीपूर््ण कार््य स्थितियां विचार करने मेें विफल रहता है। आने वाला हो या जहाज से भेजा गया हो, जो लाल सागर के माध्‍यम से जाता था, अब के प ऑफ गुड के माध्‍यम से ¾ दर््घट ु ना स्‍थलोों पर सहायता के लिए रूकने पर ड्राइवरोों के खिलाफ भीड़ की हिंसा का डर। भेजा जा रहा है। लाल सागर मेें संकट भारत – मालदीव विवाद Source : The Indian Express Source : The Hindu हूती विद्रोहियो द्वारा पश्चिमी अरब सागर मेें वाणिज्यिक भारतीय प्रधानमंत्री के लक्षद्वीप दौरे पर मालदीव के मंत्री जहाजोों पर हमलोों की श््रृृंखला मेें नवीनतम मेें मार््शल द्वीप- के टवीट् से भारत-मालदीव के मध्‍य विवाद उत्‍पन्‍न हो गया। ध्‍वनांकित तेल टैैंकर मार््ललि न लुआंडा एक मिसाइल हमले की जिससे भारत और मालदीव के बीच पहले से ही तनावपूर््ण चपेट मेें आ गया। जिसमेें 22 भारतीय और एक बांग््‍ललादेशी संबंधोों मेें और गतिरोध आ गया है। इस विवाद की शुरूआत तब सदस्‍य सवार थे। हुआ जब मालदीव के तीन उपमंत्रियोों ने भारतीय प्रधानमंत्री ¾ इस हमले के विरूद्घ भारतीय नौसेना के निर्देशित की लक्षद्वीप यात्रा के संबंध मेें नकारात्‍मक टिप्‍पणियॉॉं की। मिसाइल विध््‍ववंसक आईएनएस विशाखापट्टनम ने त्‍वरित प्रतिक्रिया व्‍यक्‍त की। पृष्‍ठभूमि:— ¾ यह कार््यवाही हूती विद्रोहियोों द्वारा गाजा मेें इजरायल की ¾ हाल ही मेें मालदीव मेें हुए राष्‍ट्रपति चुनाव के पश््‍चचात कार््रवाइयोों पर प्रतिरोध के रूप मेें देखा जा रहा है। डॉ. मोहम्‍मद मुइज््‍जजु मालदीव के नए राष्‍ट्रपति चुने गये। हूती:— मालदीव के राष्‍ट्रपति चुनाव को इंडिया फर्स्‍ट बनाम ¾ हूती विद्रोही यमन सरकार के साथ एक दशक से जारी इंडिया आउट अभियान के बीच टकराव के रूप मेें देखा संघर््ष मेें शामिल है। जा रहा था। ¾ हूती आंदोलन की जड़़े ‘’विलीविंग यूथ’’ मेें खोजी जा ¾ मो. मुइज््‍जजु की जीत को इंडिया आउट कैैंपन की जीत के सकती हैैं जो हूसैन अल-हूती और उसके पिता बद्र अल- तौर पर देखा जा रहा है। दीन अल-हूती द्वारा 1990 के दशक की शुरूआत मेें ¾ ‘इंडिया आउट’ अभियान मालदीव की धरती पर भारतीय स््‍थथापित एक पुनरूत््‍थथानवादी समूह था। सेना की मौजूदगी के खिलाफ है। ¾ जायदी शियाओं की सबसे पुरानी शाखा है। मालदीव बनाम लक्षदीप : अवलोकन ¾ वर््ष 2004 मेें सरकारी सैनिकोों ने विद्रोहियोों पर हमला ¾ भौगोलिक : मालदीव 1190 प्रवाल द्वीपोों और 20 से कर हुसैन को मार डाला। तब से सरकार ने प्रतिरोध को अधिक एटोल मेें समूहित रेत के तटोों का एक द्वीप समूह समाप्‍त करने के लिये जायदी के गढ़ सादा मेें कई सैन्‍य है, जबकि लक्षद्वीप 32 वर््ग कि.मी. मेें फैले 36 द्वीपोों का अभियान शुरू किये, जिसे स््‍थथानीय रूप मेें हूती आन््‍ददोलन समूह है। कहा गया। करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) EDU TERIA Mob. : 8603855800, 7634846685 7 ¾ पर््यटन : वर््ष 2023 मेें मालदीव मेें लगभग 1.87 मिलियन ¾ अगस्‍त 2023, दक्षिण अफ्रीका के जोहान्‍सबर््ग मेें 15 वेें से अधिक पर््यटकोों ने दौरा किया जबकि लक्षद्वीप मेें ब्रिक्‍स शिखर सम््‍ममेलन मेें 6 देशोों यथा (मिस्र, इथोपिया, लगभग 15 हजार पर््यटक आए। ईरान, संयुक्‍त अरब अमीरात (UAE), सउदी अरब और लक्षद्वीप के पर््यटन की संभावनाएँ :— अर्जजेंटीना) को 1 जनवरी 2024, तक समूह मेें शामिल होने ¾ सकारात्‍मक दृष्टिकोण : भारतीय प्रधानमंत्री की हालिया के लिए आमंत्रित किया गया था। लक्षद्वीप की यात्रा मेें लक्षद्वीप की पर््यटन क्षमता के प्रति ब्रिक्‍स के बारे मेें :— आशावाद जगाया है। ¾ ब्रिक्‍स दनि ु या की अग्रणी उभरती अर््थव्‍यवस््‍थथाएं : ब्राजील, ¾ नियोजित विकास : बंगाराम, भिरूनाक््‍ककारा, चेरिग्राम रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका के नाम समूह का और सुहल े ी चेरियाकारा जैसे द्वीपोों पर पर््यटन के विकास संक्षिप्‍त रूप है। के लिए आवेदन अपेक्षित है। ¾ वर््ष 2001 मेें ब्रिटिश अर््थशास्‍‍त््री जिम ओ नील ने चार चुनौतियॉॉं :— उभरती अर््थव्‍यवस््‍थथाओं- ब्राजील, रूस, भारत और चीन ¾ छोटा क्षेत्र : केवल 10 बसे हुए द्वीपोों वाले लक्षद्वीप मेें का वर््णन करने के लिए BRIC शब्‍द गढ़़ा था। अपेन छोटे आकार के कारण सीमित संभावनाएं हैैं। ¾ वर््ष 2006, मेें BRIC को औपचारिक रूप प्रदान किया ¾ पर्यावरणीय चिताएँ : लक्षद्वीप प्रशासन द्वारा जारी परमिट गया। के पश््‍चचात ही लक्षद्वीप मेें प्रवेश संभव है। ¾ बुनियादी ढॉॉंचे की चुनौतियॉॉं : सीमित हवाई और नौका ¾ दिसम्‍बर 2010 मेें BRIC मेें दक्षिण अफ्रीका के शामिल कनेक्टिविटी, साथ ही अपर्याप्‍त आवास आदि आधारित होने के साथ समूह के लिये BRICS संक्षप्ति नाम का चयन संरचनाओं का अभाव है। किया गया। भारत के लिए मालदीव का महत्‍व ¾ BRICS वैश्चिम आबादी मेें 41%, वैश्विक सकल घरेलू ¾ भू-आर््थथि क महत्‍व : भारत का 50% विदेशी व््‍ययापार और उत््‍पपाद मेें 24% तथा वैश्विक व््‍ययापर मेें 16% की हिस््‍ससेदारी 80% ऊर्जा आयात मालदीव के आस-पास ‘संचार के रखता है। समुद्री मार्गगों’ के माध्‍यम से होता है। ब्रिक्‍स के प्रमुख शुरूआत :— ¾ भू-रणनीतिक महत्‍व : मालदीव की भौगोलिक अवस्थिति ¾ न््‍ययू डेवलपमेेंट बैैंक (NDB) : वर््ष 2014 मेें NDB की भारत की सामरिक एवं सुरक्षा दृष्टिकोण से महत्‍वपूर््ण है। स््‍थथापना, जिसका मुख््‍ययालय शंघाई मेें स््‍थथापित किया। ¾ सुरक्षा दृष्टिकोण : मालदीव की भौगोलिक अवस्थिति ¾ ब्रिक्‍स भुगतान प्रणाली : ब्रिक्‍स देश SWIFT भुगतान इसे पश्चिमी हिंद महासागर (अदन की खाड़़ी और होर््ममूज प्रणाली के विकल्‍प के रूप मेें एक भुगतान प्रणाली जलडमरूमध्‍य) तथा पूर्वी हिंदमहासागर (मलक््‍कका सृजन का प्रयास कर रहे हैैं। जलडमरूमध्‍य) के प्रवेश एवं निकास बिंदओ ु ं के बीच एक ¾ आकस्मिक आरक्षित व्‍यवस््‍थथा (Contingent Reserve ‘टोल गेट’ के रूप मेें निर््ममित करती है। Arrangement) की स््‍थथापना के लिये संधि पर BRICS अर्जजेंटीना का ब्रिक्‍स से अलग होने का निर््णय सदस्‍यों का हस््‍तताक्षर किया जाना। अर्जजेंन््‍टटीना के BRICS समूह से बाहर होने का प्रभाव :— Source : The Hindu ¾ ब्रिक्‍स समूह के विस््‍ततार का नियंत्रण : अर्जजेंन््‍टटीना के अर्जजेंटीना के नए राष्‍ट्रपति जेवियर माइली ने ब्रिक्‍स मेें हालिया कदम ने ब्रिक्‍स समूह के विस््‍ततार पर प्रश्‍न चिन्‍ह शामिल होने की अपने देश की योजना वापस लेने का निर््णय उठाया है। लिया है। 8 Mob. : 8603855800, 7634846685 EDU TERIA करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) ¾ लैटिन अमेरिकी आर््थथि क प्रभाव : अर्जजेंन््‍टटीना, लैटिन गुटनिरपेक्ष आन््‍ददोलन (NAM):— अमेरिका की सबसे बड़़ी अर््थव्‍यवस््‍थथाओं मेें से एक है। ¾ गुटनिरपेक्ष आंदोलन (NAM) विकासशील देशोों का एक लैटिन अमेरिका ऐतिहासिक रूप से वैश्विक शक्तियोों के गठबंधन है जो किसी भी प्रमुख महाशक्ति के साथ गुट मेें लिये रूचि का क्षेत्र रहा है। अर्जजेंन््‍टटीना का हालिया कदम शामिल होने से इंकार करता है। इस क्षेत्र मेें BRICS की उपस्थिति को कमजोर करता है। ¾ इसकी स््‍थथापना 1961 मेें शीत युद्घ के दौरान हुई थी। ¾ कम््‍ययुनिस्‍ट विरोध नीति : अर्जजेंन््‍टटीना के नए राष्‍ट्रपति चीन जबकि इसकी शुरूआत वर््ष 1955 मेें इंडोनेशिया मेें आयोजित बांडुग ं सम््‍ममेलन से हुई थी। विरोधी है। इसे वैश्विक स्‍तर पर चीन की स््‍ववीकार््यता के समक्ष चुनौती के रूप मेें देखा जा सकता है। ¾ इसकी स््‍थथापना मेें भारतीय प्रधानमंत्री जवाहरलाल नेहरू, युगोस््‍ललाविया के जोसिप ब्रोज टीटो, मिस्र के गमाल अब््‍ददेल नासिर, इंडोनेशिया के सुकर्णणों और घाना के क््‍ववामेें 19वां गुटनिरपेक्ष आन््‍ददोलन एवं वर््तमान नुक्रमाह ने प्रमुख भूमिका निभाया। समय मेें NAM की प्रासंगिकता ¾ वर्तत्तमान मेें आंन््‍ददोलन मेें 120 सदस्‍य देश है। भारत Source : The Indian Express संस््‍थथापक सदस्‍यों मेें से एक है। हाल ही मेें 19वां गुटनिरपेक्ष आंदोलन (NAM) शिखर ¾ संयुक्‍त राष्‍ट्र के बाद NAM राष्‍‍ट्ररों का दस ू रा सबसे बड़़ा सम््‍ममेलन 19 और 20 जनवरी को युगांडा की राजधानी कं पाला समूह है। मेें आयोजित किया गया था। ¾ NAM के पास कोई स््‍थथायी सचिवालय या औपचारिक ¾ थीम : ‘’साझा वैश्विक समृद्घि के लिये सहयोग को गहरा संस््‍थथापक चार््टर, अधिनियम या संधि नहीीं है। करना’’ ¾ शिखर सम््‍ममेलन आमतौर पर हर तीन साल मेें होता है। ¾ अजरबैजान के बाद युगांडा ने वर््ष 2027 तक के लिये गुटनिरपेक्ष आन््‍ददोलन और भारत :— इसकी अध्‍यक्षता ग्रहण की है। ¾ गुटनिरपेक्ष आंदोलन भारत की राजनयिक उपस्थिति‍को 19वेें शिखर सम््‍ममेलन की प्रमुख बिंदु :— बढ़़ावा देने और अंतर्राष्‍‍ट््रीय स्‍तर पर आर््थथि क सहायता ¾ NAM शिखर सम््‍ममेलन के दौरान, नेताओं ने गाजा मेें हासिल करने का एक प्रभावी साधन बन गया था। इजरायल की कार््रवाई की ओलचना की और संघर््ष को ¾ किंतु USSR के विघटन से विश्‍व व्‍यवस््‍थथा पर अमेरिका तत््‍ककाल समाप्‍त करने का आह्वान किया। का प्रभुत्‍व स््‍थथापित हो गया। भारत की नई आर््थथि क नीति ¾ शिखर सम््‍ममेलन ने ‘कंपाला घोषणा’ को अपनाया जिसमेें और अमेरिका के प्रति झुकाव ने गुटनिरपेक्षता पर भारत गाजा पट्टी मेें मानवीय सहायता की अनुमति देने के लिए की गंभीरता पर सवाल खड़़े कर दिये। संयुक्‍त राष्‍ट्र सुरक्षा परिषद के प्रस््‍तताव को लागू करने का ¾ 1965 और 1971 के युद्घघों के दौरान इंडोनेशिया और मिस्र ने आह्वान किया। भारत विरोधी रूख अपनाया और पाकिस््‍ततान का समर््थन ¾ भारत के विदेश मंत्री ने 19वेें शिखर सम््‍ममेलन मेें भारतीय किया। प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्‍व किया, जिसमेें गाजा संकट के भारत के लिए NAM का महत्‍व:— स््‍थथायी समाधान का मार््ग प्रशस्‍त किया गया। उन्‍होंने ¾ UNSC मेें भारत की उम््‍ममीदवारी का समर््थन: NAM मानवीय संकट मेें तत््‍ककाल राहत की आवश्‍यकता पर बल मेें 120 विकासशील देश शामिल हैैं, जिनमेें अधिकांश दिया और पश्चिमी एशियाई क्षेत्र मेें संघर््ष के प्रसार को संयुक्‍त राष्‍ट्र महासभा के सदस्‍य है। रोकने का आग्रह किया। ¾ वैश्विक दक्षिण सहयोग : NAM के साथ भारत के जुड़़ाव ¾ भारत ने अपनी ‘’विश्‍व मित्र’’ पहल के माध्‍यम से वैश्विक से विकासशील दनि ु या। वैश्विक दक्षिण की आवाज के एकजुटता और सहयोग के प्रति प्रतिबद््तता पर जोर दिया। रूप मेें भारत के कद को बढ़़ाने मेें मदद मिलेगी। करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) EDU TERIA Mob. : 8603855800, 7634846685 9 ¾ बहुध्रुवीय विश्‍व व्‍यवस््‍थथा को सुदृढ़ करना : NAM एक मुक्‍त संचरण व्‍यवस््‍थथा का औचित्‍य बहुध्रुवीय विश्‍व के निर्माण मेें मदद कर सकता है जिसमेें ¾ ऐतिहासिक पृष्‍ठभूमि : वर््ष 1826 मेें यांडाबू की संधि भारत एक प्रमुख ध्रुव बन सकता है। द्वारा वर््तमान भारत म्‍यॉंमार सीमा स््‍थथापित किया गया। आगे की राह:— किंतु इस विभाजन ने साझा जातीयता और संस््‍ककृत वाले समुदायोों को अलग कर दिया, जिनमेें नागालैैंड और ¾ भारत को गुटनिरपेक्ष आन््‍ददोलन के साथ रचनात्‍मक रूप मणिपुर मेें नागा, मणिपुर और मिजोरम मेें कु की-चिन- से जुड़़ाव करने की आवश्‍यकता। मिजो समुदाय शामिल थे। ¾ वैश््‍वविक मुद्ददों पर आपसी समहमति बनाने पर बल। ¾ सांस््‍ककृ तिक और आर््थथि क संबंधोों को सुविधाजनक बनाना: FMR सीमावर्ती समुदायो को रिश््‍तते बनाए रखने और भारत और म्‍यॉंमार के बीच मुक्‍त संचरण सीमा पार व््‍ययापार मेें संलग्‍न होने की अनुमति देता है। व्‍यवस््‍थथा (FMR) पर पुनर््वविचार ¾ क्षेत्रीय संबंधोों को बढ़़ावा देना : FMR म्‍यॉंमार के साथ संबंधोों को मजबूत करने के लिए भारत की एक्‍ट ईस्‍ट Source : The Indian Express नीति का हिस््‍ससा था। हाल ही मेें केेंद्रीय गृह मंत्री ने भारत म्‍यॉंमार सीमा की पूरी मुक्‍त संचलन व्‍यवस््‍थथा को खत्‍म करने के कारण :— लंबाई मेें बाड़ लगाने की घोषणा की है जिससे भारत- म्‍यॉंमार ¾ अवैध प्रवासन : हालिया मणिपुर संघर््ष मेें म्‍यॉंमार से की बीच मुक्‍त संरक्षण व्‍यवस््‍थथा प्रतिबंधित हो सकती है। भारत मेें आदिवासी कुकी-चिन लोगोों का अवैध प्रवास ¾ उद्देश्‍य : मणिपुर, मिजोरम, असम, नागालैैंड और प्रमुख कारण रहा है। अरूणाचल प्रदेश जैसे राज्‍यों से गुजरने वाली 1643 ¾ रोहिग््‍यया संकट : रोहिंग््‍यया संकट एक मानवीय और किलोमीटर की सीमा पर लोगोों की निर्बाध आवाजाही मानवाधिकारी त्रासदी है। रोहिंग््‍यया शरण की तलाश मेें को कम करना है। पड़़ोसी देशोों विशेषकर भारत और बांग््‍ललादेश चले गये मुक्‍त संचरण व्‍यवस््‍थथा (FMR) जिसने भारत म्‍यॉंमार संबंधोों को तनावपूर््ण बना दिया है। ¾ मुक्‍त संचरण व्‍यवस््‍थथा दोनोों देशोों के बीच एक पारस्‍परिक नशीली दवाओं की तस्‍करी और हथियारोों का व््‍ययापार :— रूप से सहमत व्‍यवस््‍थथा है जो सीमा के दोनोों ओर रहने ¾ खुली सीमाएं और FMR का दरू ु पयोग तस्‍करी और वाली जनजातियोों को बिना वीजा के दस ू रे देश के अंदर विद्रोही गतिविधियोों को सक्षम बनाता है। 16 किमी तक यात्रा करने की अनुमति देती है। ¾ आंतरिक सुरक्षा :—बिना बाड़ वाली लंबी सीमा नियंत्रण ¾ सीमा पर रहने वाले व्‍यक्तियोों को पड़़ोसी देश मेें दो और राष्‍‍ट््रीय सुरक्षा के लिए चुनौतियां प्रस््‍ततुत करती है। सप््‍तताह तक रहने के लिए एक साल के सीमा पास की आवश्‍यकता होती है। ईरान-पाकिस््‍ततान : टकराव ¾ इसे सरकार की एक्‍ट ईस्‍ट नीति के हिस््‍ससे के रूप मेें 2018 Source : The Hindu मेें लागू किया गया था। हाल ही मेें पाकिस््‍ततान के बलूचिस््‍ततान वाले इलाके मेें ¾ FMR का उद्देश्‍य : स््‍थथानीय सीमा व््‍ययापार को सुविधाजनक ईरान ने मिसाइल हमला किया, जिसके जवाबी कार््रवाई मेें बनाना, राजनयिक संबंधोों मेें सुधार करना तथा सीमावर्ती पाकिस््‍ततान ने भी ईरान पर हमला किया। दनि ु या के विभिन्‍न निवासियोों के लिए शिक्षा और स््‍ववास्‍‍थ््‍य सेवा तक पहुुंच मेें हिस््‍ससे, खासकर पश्चिम एशिया मेें बढ़ते भू-राजनीतिक संघर्षषों और तनावोों के बीच ईरान और पाकिस््‍ततान के बीच टकराव सुधार करना। एक चिंताजनक विषय है। 10 Mob. : 8603855800, 7634846685 EDU TERIA करेेंट अफेयर््स (01 to 15 January) ईरान का तर््क:— ¾ बलूच राष्‍ट्रवादी आन््‍ददोलन: ईरान और पाकिस््‍ततान दोनोों ¾ पाकिस््‍ततान के बलूचिस््‍ततान मेें सक्रिय अलगाववादी मेें बलूचोों की दयनीय स्थिति ने ‘’ग्रेटर बलूचिस््‍ततान’’ राष्‍ट्र संगठन जैश-अल-अदल की गतिविधियोों से ईरान पहले राज्‍य की मांग करने वाले अलगाववादी आन््‍ददोलनोों को से परेशान रहा है। बढ़़ावा मिला है। ¾ दिसम्‍बर 2023 मेें ईरान के सीमावर्ती क्षेत्र बलूचिस््‍ततान के → बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) जैसे समूहोों से जुड़ ़े रास्‍क कस््‍बबे मेें किए गए हमले का जवाब माना जा रहा है। विद्रोही संबंधित राज्‍यों के खिलाफ सशस्‍त्र संघर््ष मेें उस हमले मेें 13 ईरानी सैनिक मारे गये थे। शामिल रहे हैैं। पाकिस््‍ततान के जवाबी हमला का प्रमुख कारण:— जैश-अल-अदल:— ¾ पाकिस््‍ततान की आंतरिक राजनीति, जहां अगले माह ¾ जैश-अल-अदल (न््‍ययाय की सेना), एक सुन््‍ननी आतंकवादी चुनाव है। समूह है जिसका उद्भव 2012 मेें हुआ। ¾ ईरानी हमले के दो दिन बाद वहां के सिस््‍ततान और ¾ यह मुख्‍य रूप से ईरान-पाकिस््‍ततान सीमा के दोनोों ओर बलूचिस््‍ततान मेें बलूच अलगाववादी समूहो के ठिकानोों पर रहने वाले जातीय बलूच समुदाय के सदस्‍यों से बना है। हवाई प्रहार किया। ¾ जैश-अल-अदल का मुख्‍य उद्देश्‍य ईरान के पूर्वी सिस््‍ततान ¾ पाकिस््‍ततान के संप्रभुता मेें दखल का आरोप लगाया प््राांत और पाकिस््‍ततान के दक्षिणी-पश्चिमी बलूचिस््‍ततान जाना। प््राांत के लिए स्‍वतंत्रता प्राप्‍त करना है। तनाव का मुख्‍य कारण:— ¾ सीमा विवाद : ईरान और पाकिस््‍ततान के बीच 959 किमी शिक्षा की वार््षषिक स्थिति रिपोर््ट (ASER) 2023 लंबी बॉर््डर है, जो ईरान के सबसे बड़़े प््राांत सिस््‍ततान- बलूचिस््‍ततान और पाकिस््‍ततान के सबसे बड़़े प््राांत बलूचि

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