माना एक परिनालिका, उसमें इकाई लंबाई में फेरों की संख्या n है। परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता ज्ञात करने के लिए पद ABCD लेते हैं। माना एक परिनालिका, उसमें इकाई लंबाई में फेरों की संख्या n है। परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता ज्ञात करने के लिए पद ABCD लेते हैं।

Question image

Understand the Problem

यह सवाल एक परिनालिका (solenoid) के बारे में है जिसकी लंबाई, फेरों की संख्या आदि दी गई है। हमें परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता ज्ञात करनी है।

Answer

$B = \mu_0 nI$
Answer for screen readers

परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता है: $B = \mu_0 nI$

Steps to Solve

  1. एम्पीयर का नियम लागू करना एम्पीयर का नियम कहता है कि किसी बंद लूप के चारों ओर चुंबकीय क्षेत्र का इंटीग्रल लूप से गुजरने वाली कुल धारा के समानुपाती होता है। गणितीय रूप से, इसे इस प्रकार व्यक्त किया जाता है: $$ \oint \vec{B} \cdot d\vec{l} = \mu_0 I_{enc} $$ जहाँ: $\vec{B}$ चुंबकीय क्षेत्र है $d\vec{l}$ लूप के साथ एक छोटा सा विस्थापन है $\mu_0$ मुक्त स्थान की पारगम्यता है ($4\pi \times 10^{-7} , \text{T m/A}$) $I_{enc}$ लूप द्वारा संलग्न धारा है

  2. परिनालिका के भीतर पाथ ABCD का चुनाव हम परिनालिका के भीतर एक आयताकार पाथ ABCD चुनते हैं, जिसमें AB अक्ष के समानांतर है और CD अक्ष के बाहर स्थित है, जहाँ चुंबकीय क्षेत्र नगण्य है।

  3. लूप इंटीग्रल का मूल्यांकन $\oint \vec{B} \cdot d\vec{l}$ का मूल्यांकन चार खंडों में किया जाता है:

  • AB के अनुदिश: $\int_A^B \vec{B} \cdot d\vec{l} = Bl$, जहाँ $l$ खंड AB की लंबाई है और B चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता है।

  • BC के अनुदिश: $\int_B^C \vec{B} \cdot d\vec{l} = 0$, क्योंकि $\vec{B}$ और $d\vec{l}$ लंबवत हैं।

  • CD के अनुदिश: $\int_C^D \vec{B} \cdot d\vec{l} = 0$, क्योंकि परिनालिका के बाहर चुंबकीय क्षेत्र नगण्य है ($B \approx 0$)।

  • DA के अनुदिश: $\int_D^A \vec{B} \cdot d\vec{l} = 0$, क्योंकि $\vec{B}$ और $d\vec{l}$ लंबवत हैं।

अतः, $\oint \vec{B} \cdot d\vec{l} = Bl$

  1. संलग्न धारा का निर्धारण यदि परिनालिका की प्रति इकाई लंबाई में $n$ फेरे हैं, तो लंबाई $l$ में फेरों की संख्या $nl$ होगी। यदि प्रत्येक फेरे में धारा $I$ है, तो संलग्न कुल धारा $I_{enc} = nIl$ होगी।

  2. चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता ज्ञात करना एम्पीयर का नियम लागू करने पर: $$ Bl = \mu_0 nIl $$ इसलिए, परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता है: $$ B = \mu_0 nI $$

परिनालिका के भीतर चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता है: $B = \mu_0 nI$

More Information

चुंबकीय क्षेत्र की तीव्रता $ \mu_0 $ मुक्त स्थान की पारगम्यता, $n$ प्रति इकाई लंबाई में फेरों की संख्या, और $I$ धारा पर निर्भर करती है। यह परिणाम बताता है कि एक आदर्श परिनालिका के अंदर चुंबकीय क्षेत्र समान होता है और केवल परिनालिका की विशेषताओं पर निर्भर करता है, न कि परिनालिका के अंदर की स्थिति पर।

Tips

  • लूप इंटीग्रल का मूल्यांकन करते समय दिशाओं को सही से ध्यान में न रखना।
  • संलग्न धारा की गणना में त्रुटि करना, विशेष रूप से प्रति इकाई लंबाई फेरों की संख्या को ध्यान में न रखना।

AI-generated content may contain errors. Please verify critical information

Thank you for voting!
Use Quizgecko on...
Browser
Browser